अल्मोड़ा बस हादसे ने दिलाई धूमाकोट हादसे की याद, 48 लोगों की मौत और 13 लोग हुए थे घायल

punjabkesari.in Tuesday, Nov 05, 2024 - 02:44 PM (IST)

पौड़ीः उत्तराखंड में दीपावली का त्योहार समाप्त होते ही लोगों की खुशियां मातम में बदल गई है। दरअसल, बीते सोमवार को पौड़ी जनपद के धुमाकोट तहसील से एक बस यात्रियों को लेकर रामनगर अल्मोड़ा जा रही थी। इसी बीच अल्मोड़ा के मर्चूला में बस खाई में गिरने से 36 लोगों की मृत्यु और 27 लोग घायल हुए है। वहीं, इस दर्दनाक घटना ने वर्ष 2018 में धूमाकोट में हुए हादसे की याद दिलाई है। जिसमें 48 लोगों की मौत हुई थी और 13 लोग घायल हो गए थे।

दरअसल, सड़क हादसों में कहीं ना कहीं सड़कों की बेहतर हालत न होना, बसों में क्षमता से अधिक सवारी का बैठना आदि तमाम कारण है। इस के चलते उत्तराखंड के पहाड़ी क्षेत्रों में सड़क हादसे हो रहे हैं। इसी बीच बीते सोमवार को हुई घटना में पौड़ी जिले और अल्मोड़ा जिले से लोगों की मौत हुई है। जिस पर सभी लोगों ने अपनी संवेदना भी व्यक्त की है। लेकिन सवाल यह खड़ा होता है कि आखिर कब तक इस तरह की सड़क दुर्घटनाएं होती रहेगी और लोग अपनी जान को गंवाते रहेंगे। वहीं, आरटीओ पौड़ी द्वारिका प्रसाद ने बताया कि जो बस तहसील धूमाकोट से रामनगर अल्मोड़ा के लिए निकली थी। उसके सभी दस्तावेज सही है और उसकी फिटनेस भी सही समय पर हुई थी। साथ ही उसका जो परमिट है, वह साल 2025 तक वैध है।

वहीं, विकास चौहान सदस्य संभागीय परिवहन प्राधिकरण उत्तराखंड ने बताया कि देखा जा रहा है कि बसों में क्षमता से अधिक सवारियों के बैठने से सड़क हादसे हो रहे हैं जो कि दुखद है। बताया कि लगातार कोशिश की जाती है कि सड़क हादसों को किस तरह से रोका जा सके। पहाड़ों की विषम भौगोलिक परिस्थितियों के बावजूद भी दूरस्थ क्षेत्रों में वाहनों की पर्याप्त व्यवस्था न होने के चलते वाहन चालक क्षमता से अधिक सवारी बैठाते हैं। ऐसे में इन इलाकों में यदि वाहनों की पर्याप्त व्यवस्था हो तो सड़क हादसों में काफी हद तक अंकुश लग सकता है।


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Content Editor

Vandana Khosla

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